अक्टूबर 01, 2011

बच्चों ने किया बड़ा जाम



 ०१-१०-2011

वर्षों से सरकारी योजनाओं के लाभ से वंचित महादलित बच्चों और उनके परिजनों का गुस्सा आज एक साथ ही फुटकर सड़क पर पसर गया.सौर बाजार प्रखंड के करीब आधा दर्जन उत्क्रमित मध्य विद्यालय के सैंकड़ों बच्चे और उनके साथ उससे भी बड़ी संख्यां आये उनके परिजनों ने ना केवल जमकर बबाल काटे बल्कि बैजनाथपुर से होकर गुजरने वाली NH--107 को करीब पाँच घंटे तक जाम कर यातायात को पूरी तरह से ठप्प कर दिया.इस दौरान गाड़ियों की लम्बी कतार लग गयी और आमलोग खासे हलकान और परेशान रहे.हद की इन्तहा देखिये की सहरसा जिले के सबसे महत्वपूर्ण सड़क पर घंटों से यातायात ठप्प था लेकिन इस दौरान जिले के किसी बड़े प्रशासनिक अधिकारी ने मौके पर जाकर आंदोलित लोगों को समझाने का प्रयास नहीं किया.सुबह ग्यारह बजे से लगा जाम शाम के चार बजे जाकर समाप्त हुआ.आन्दोलनकारी बच्चों और उनके परिजनों का कहना था की सरकार उनके और उनके बच्चों के लिए तो अनगिनत योजनायें चला रही है लेकिन उन्हें इसका कतई लाभ नहीं मिल रहा है.बच्चों को स्कूल में एक तो कभी ढंग से मिड डे मिल नहीं मिलता है और उसपर आजतक ना तो छात्रवृति और ना ही पोशाक की राशि ही उन्हें मिली है.सरकार ने उन्हें महादलित बनाकर दूसरे को मालामाल करने का काम किया है.आखिरकार जाम सौर बाजार के बीडीओ के समझाने--बुझाने पर खत्म हुआ.

यह नजारा है सहरसा के बैजनाथपुर के NH--107 का.देखिये यहाँ सरकारी योजनाओं के लाभ से पूरी तरह वंचित ना केवल महादलित बच्चों का कुनबा उमड़ा है बल्कि इन बच्चों के साथ इनके परिजन भी है.बच्चे और उनके परिजनों ने मिलकर बैजनाथपुर के NH--107 को पूरी तरह से जामकर के यातायात को बाधित कर दिया है.सुबह ग्यारह बजे ये सभी यहाँ हंगामा कर रहे हैं लेकिन इनको सुनने के लिए यहाँ कोई प्रशासन का अधिकारी नहीं आ रहा है.बैजनाथपुर शिविर के प्रभारी ने इन्हें समझाने का काफी प्रयत्न किया लेकिन उनकी एक ना चली और जाम जारी रहा.जाम के दौरान मधेपुरा,पुर्णिया,कटिहार से लेकर सोनवर्षा राज और निकट के कई हिस्सों के लिए जाने वाली गाड़ियां यूँ  ही सड़क के किनारे लगी रहीं.जाम के दौरान कई पुलिस अधिकारियों को भी जाम में फंसे रहने को विवश रहना पड़ा.मधेपुरा के डीएसपी को सहरसा जाना था लेकिन उन्हें जाने की इजाजत जाम खत्म होने पर ही मिल सकी.आईये सुनते हैं बच्चों और उनके परिजनों को.
अब जरा इस बुजुर्ग महादलित के गुस्से को देखिये.इनका कहना है की नीतीश कुमार ने इन्हें महादलित बनाकर ठगने का कामं किया है.ना तो इन्हें और ना ही इनके बच्चों को सरकार की किसी योजना का लाभ मिल रहा है.देखिये ये हाथ में पत्थर लेकर कह रहे हैं की अगर अभी नीतीश कुमार उनके सामने आ जाएँ तो वे उनका सर फोड़ देंगे.

दिनभर बैजनाथपुर शिविर के प्रभारी लोगों को मनाने की कोशिश करते रहे लेकिन किसी ने उनकी एक ना सुनी.सबके सब बीडीओ और डीएम को मौके पर बुलाने की जिद पर अड़े थे.आईये सुनते हैं इनको..
सुनील कुमार भगत,बैजनाथपुर शिविर प्रभारी.
चार बजे शाम में जाम तो खत्म हो गया लेकिन इस जाम ने कई सवाल खड़े किये हैं.एक तो महादलितों के साथ किस तरह से छलावा हो रहा है और दूसरा प्रशासन के अधिकारी कितने बिगडैल और लापरवाह हैं,इनमें सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण हैं.

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