बीएड के लिए नियम में बदलाव साधारण छात्र और छत्राओं को अब बहाने होंगे पसीने.....
बिना मिहनत के,सफलता मुश्किल फांकी से नहीं,अब पढ़कर मिलेगी डिग्री ......
सहरसा टाईम्स की रिपोर्ट ----
आपको बताना बेहद लाजिमी है की बी.एड कोर्स को लेकर अब नया फैसला आया है । दो वर्ष के सत्र वाले बी.एड करने वालों को अब अधिकतम तीन साल में यह कोर्स पूरा करना होगा । यह व्यवस्था एनसीटीई द्वारा पूरे देश में लागू कर दिया गया है ।
निर्देश दिया गया है कि इस दो वर्षीय कोर्स में एक बार फेल होने वाले छात्रों को दोबारा परीक्षा का सिर्फ एक मौका मिलेगा । इसके पहले छात्रों को तीन मौके दिए जाते थे । नए नियम के मुताबित इस दो साल के कोर्स के पहले साल की परीक्षा में अगर कोई छात्र फेल होगा तो उसे दूसरे वर्ष में प्रवेश नहीं मिलेगा और अगर कोई छात्र दूसरे वर्ष में फेल होता है तो उसे सुधार के लिए सिर्फ एक मौका दिया जाएगा । कोई भी छात्र प्रथम वर्ष की परीक्षा पास करने के बाद ही दूसरे वर्ष में प्रवेश पा सकेगा ।
अगर कोई छात्र दूसरे वर्ष की परीक्षा में फेल हो जाता है तो उसे सिर्फ एक साल और अधिक पढ़ाई कर परीक्षा पास करने का मौक़ा दिया जाएगा ।
मौके के तौर पर दिए गए एक वर्ष में भी अगर कोई छात्र फेल होता है तो आगे उसे कोई मौका नहीं दिया जाएगा । यानि इसबार से बीएड की डिग्री हासिल करना आसान नहीं होगा । विगत वर्ष तक यह डिग्री हमारी समझ से खेल--खेल में ना केवल हासिल की जाती थी बल्कि सरकारी सेवा में बाखूबी उसका कारगर इस्तेमाल भी किया जाता था ।
अगर कोई छात्र दूसरे वर्ष की परीक्षा में फेल हो जाता है तो उसे सिर्फ एक साल और अधिक पढ़ाई कर परीक्षा पास करने का मौक़ा दिया जाएगा ।
मौके के तौर पर दिए गए एक वर्ष में भी अगर कोई छात्र फेल होता है तो आगे उसे कोई मौका नहीं दिया जाएगा । यानि इसबार से बीएड की डिग्री हासिल करना आसान नहीं होगा । विगत वर्ष तक यह डिग्री हमारी समझ से खेल--खेल में ना केवल हासिल की जाती थी बल्कि सरकारी सेवा में बाखूबी उसका कारगर इस्तेमाल भी किया जाता था ।
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